भगवान के दरबार में ISRO चीफ, वेदर सैटेलाइट लॉन्चिंग की सफलता की कामना
नई दिल्ली
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) के अध्यक्ष एस. सोमनाथ ने शनिवार को नेल्लोर जिले में श्री चेंगलम्मा परमेश्वरी मंदिर के दर्शन किए। आज जियोसिंक्रोनस लॉन्च व्हीकल (GSLV) रॉकेट से इनसैट-3डीएस मौसम सैटेलाइट लॉन्च होने वाला है, इस प्रक्षेपण से ठीक पहले इसरो चीफ मंदिर गए थे। इस दौरान उन्होंने मिशन की सफलता की कामना की। सोमनाथ सुबह कुछ अन्य अधिकारियों के साथ धार्मिक अनुष्ठान में शामिल होने के लिए सुल्लुरपेटा में स्थित मंदिर पहुंचे। यहां इन लोगों ने भगवान की मूर्ति पर पुष्प अर्पित किए।
सोमनाथ ने पत्रकारों से कहा, 'मैं इस मिशन की सफलता के लिए चेंगलम्मा भगवती का आशीर्वाद लेने के लिए आज यहां आया हूं।' इसरो प्रमुख ने कहा कि मौसम विज्ञान उपग्रह का प्रक्षेपण आज शाम 5:35 बजे होना है। इस मिशन का उद्देश्य मौसम, जलवायु और चक्रवातों पर नजर रखना है। लॉन्च से पहले ISRO के अधिकारियों के इस मंदिर के दर्शन की परंपरा 15 साल से जारी है। सोमनाथ ने चंद्रयान-3 और आदित्य-एल1 मिशन की पूर्व संध्या पर भी मंदिर के दर्शन किए थे।
नए वेदर सैटेलाइट का क्या है मकसद?
इसरो के मुताबिक, जीएसएलवी रॉकेट से इनसैट-3डीएस मौसम उपग्रह के प्रक्षेपण की उलटी गिनती जारी है। मिशन का उद्देश्य मौजूदा उपग्रहों इनसैट-3डी और इनसैट-3डीआर को मौसम संबंधी जानकारियों के लिए निरंतर सेवाएं प्रदान करना है। साथ ही मौसम पूर्वानुमान, भूमि व महासागर सतहों की निगरानी कर आपदा संबंधी चेतावनियां देना, उपग्रह सहायता प्राप्त अनुसंधान और बचाव सेवाएं प्रदान करना है। लॉन्च से पहले शुक्रवार दोपहर 2:30 बजे इसकी उलटी गिनती शुरू हो गई थी। लगभग 20 मिनट की उड़ान के बाद 2,274 किलोग्राम वजन वाले उपग्रह भारतीय राष्ट्रीय उपग्रह प्रणाली (इनसैट) को जीएसएलवी रॉकेट से अलग किए जाने की उम्मीद है। आपदाओं के सटीक पूर्वानुमान को लेकर इस मिशन को काफी अहम माना जा रहा है। जानकारों ने बताया कि नए वेदर सैटेलाइट के सफल लॉन्च से भारत को इस दिशा में काफी बढ़त मिल जाएगी।