फेम-2 सब्सिडी में कटौती: छोटी बैटरी से दोपहिया सस्ता करने की तैयारी
नई दिल्ली
जून में केंद्र सरकार ने इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों परर कंपनियों को मिलने वाली फेम-2 योजना (फास्टर एडॉप्शन एंड मैन्युफैक्चरिंग ऑफ (हाइब्रिड एंड) इलेक्ट्रिक व्हीकल्स) वाली सब्सिडी कम कर दी। इसके तहत सब्सिडी 15,000 रुपये प्रति किलोवॉट प्रति घंटा से घटाकर 10,000 रुपये प्रति किलोवॉट प्रति घंटा कर दी गई है। नतीजा कंपनियों पर वाहनों का दाम बढ़ाने को दबाव बढ़ा है। ये दोपहिया पहले से ही काफी महंगे हैं। फिलहाल वाहन कंपनियां इनका दाम और बढ़ाने का जोखिम मोल नहीं लेना चाहतीं। अब इन कंपनियों ने वाहन में लगने वाली बैटरी की लागत कम करने के उपायों पर काम करना शुरू कर दिया है। उनके सामने एक विकल्प बैटरी को छोटा करना भी है।
किसी इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहन की लागत में तकरीबन 40 से 50 प्रतिशत हिस्सा बैटरी का रहता है और कंपनियों के सामने फौरी विकल्प बैटरी पैक का आकार कम करना है। बैटरी के आकार में कमी से दाम में कम से कम 20 से 25 प्रतिशत की कमी हो सकती है। सूत्रों के मुताबिक इन कंपनियों का कहना है कि वे और अधिक किफायती दोपहिया मॉडल लाने पर काम कर रही हैं, क्योंकि फेम 2 सब्सिडी के संबंध में अनिश्चितता बनी हुई है। प्रति किलोवॉट के प्रोत्साहन में 5,000 रुपये तक की कमी करने के अलावा केंद्र ने वाहन के एक्स-फैक्टरी दामों की 40 प्रतिशत की अधिकतम सब्सिडी सीमा भी घटाकर 15 प्रतिशत कर दी है।
पुर्जे बदलना महंगा पड़ेगा: जानकारों का कहना है कि अगर किसी कंपनी को अन्य पुर्जों में बदलाव करके वाहन की लागत घटानी है, तो असल में इसका मतलब एक नया मॉडल तैयार करना होगा। ईवी दोपहिया उद्योग को पुर्जों की आपूर्ति करने वाले एक सूत्र ने कहा कि लगभग हर कंपनी बैटरी का आकार कम करने के लिए काम कर रही है। इसे तीन किलोवॉट प्रतिघंटा से घटाकर ढाई से दो किलोवॉट प्रति घंटा के दायरे में किया जा रहा है।
चार किलोवॉट प्रति घंटे की क्षमता पर वाहन एक बार चार्ज करने पर लगभग 110 से 120 किमी तक चलता है। वर्तमान में दोपहिया बैटरी पैक के दाम 18,000 रुपये से लेकर 1,50,000 रुपये (एक किलोवॉट से 10 किलोवॉट के बीच) तक होते हैं। यह उसके आकार और उस राज्य पर निर्भर करता है, जिसमें इसे बेचा जा रहा है। अलबत्ता ईवी दोपहिया वाहन विनिर्माताओं ने अपना पोर्टफोलियो फिर से व्यवस्थित करने की तैयारी कर ली है।
फिर पटरी पर लौटी ईवी दोपहिया की बिक्री: जुलाई का पहले पखवाड़े में इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों की औसत दैनिक बिक्री पिछले महीने की तुलना में लगभग 100 प्रतिशत बढ़ चुकी है। सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के पोर्टल वाहन के आंकड़ों के अनुसार जुलाई के पहले 17 दिनों में ई-दोपहिया वाहनों की औसत दैनिक बिक्री जून में बेचे गए 852 वाहनों की तुलना में बढ़कर 1,702 वाहन हो गई है। पहली जुलाई से 17 जुलाई तक ई-दोपहिया वाहनों की कुल 28,937 बिक्री हुई थी, जबकि जून में 14,499 वाहनों की बिक्री की गई थी।
शुरुआत में सब्सिडी कटौती का ई-दोपहिया बाजार पर नकारात्मक असर पड़ा था, जिससे बिक्री में गिरावट आई थी क्योंकि संभावित खरीदार ई-दोपहिया वाहन खरीदने के लाभ पर इसकी चोट का आकलन कर रहे थे। जून में ई-दोपहिया की बिक्री लगभग 60 प्रतिशत घटकर 42,124 इकाई रह गई, जबकि मई में यह 1,05,348 की बिक्री के साथ अब तक के सर्वाधिक स्तर पर थी। मई में बिक्री बढ़ गई थी क्योंकि ग्राहक फेम 2 के तहत दिए जाने वाले अधिक प्रोत्साहनों को भुनाने की दौड़ में थे।