यमुना के उफान से हलकान, दिल्ली में अब क्यों सेना की मदद चाहती है केजरीवाल सरकार
नई दिल्ली
यमुना के उफान ने दिल्ली को हलकान कर दिया है। यमुना के जलस्तर में मामूली कमी के बाजवूद मुश्किलें कम नहीं हो रही हैं। इस बीच दिल्ली सरकार ने अब सेना से मदद मांगने का फैसला किया है। आईपी रेग्युलेटर में आई दिक्कत को दूर करने के लिए मंत्री आतिशी ने चीफ सेक्रेट्री से कहा है कि एनडीआरएफ और सेना से मदद ली जाए।
यमुना में जलस्तर में मामूली गिरावट आई है लेकिन आईटीओ और राजघाट जैसे इलाके अब भी डूबे हुए हैं। दिल्ली के सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण विभाग को पानी को शहर में घुसने से रोकने में दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है। इंद्रप्रस्थ के पास एक रेग्युलेटर के खराब होने से यह समस्या आ रही है। बाढ़ का पानी तिलक मार्ग पर स्थित सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच गया है।
मंत्री ने चीफ सेक्रेट्री को लिखे लेटर में कहा है, 'सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण विभाग की टीम ने ड्रेन नंबर 12 के रेग्युलेटर को ठीक करने के लिए पूरी रात काम किया है। लेकिन अभी भी पानी बड़ी मात्रा में शहर में घुस रहा है। इसे ठीक करने के लिए सभी संसाधन लगाएं। यदि जरूरत पड़े तो एनडीआरएफ की इंजीनियर विंग और सेना से भी मदद मांगी जाए। कृपया इसे प्राथमिकता से देखें। हम शहर के और हिस्सों में पानी नहीं घुसने दे सकते हैं।'
इससे पहले दिल्ली के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि सरकार ने चीफ सेक्रेट्री से कहा है कि इस मुद्दे को प्राथमिकता से देखा जाए और रेग्युलेटर को ठीक कराया जाए। उन्होंने बताया कि डब्ल्यूएचओ बील्डिंग के पास ड्रेन नंबर 12 के रेग्युलेटर को ठीक करने के लिए टीम ने पूरी रात काम किया। उन्होंने बताया कि यहीं से यमुना का पानी शहर में प्रवेश कर रहा है। यमुना का जलस्तर शुक्रवार सुबह 8 बजे 208.42 मीटर दर्ज किया गया। दिल्ली में यमुना नदी का जलस्तर सुबह 10:00 बजे पहले से घटकर पहुंचा 208.38 मीटर पहुंचा।