वित्तीय अधिकारों में वित्त विभाग ने किया इजाफा, अब ज्यादा खर्च की दे सकेंगे अनुमति
भोपाल
प्रदेश के सरकारी महकमों के विभिन्न अधिकारियों के वित्तीय अधिकारों में वित्त विभाग ने इजाफा कर दिया है। अब ये अधिकारी अपने विभागीय खर्चो को के लिए और अधिक राशि की मंजूरी दे सकेंगे।
विभागों के डायरेक्टरों को अब टीचिंग एड की खरीदी के पूरे अधिकार दिये गए है। केवल फर्नीचर, कम्प्यूटर और पेरीफेरल्स के मामले में उन्हें यह अधिकार नहीं रहेंगे। ट्रेनिंग क्लासेस, हॉस्टल, गेस्ट हाउस, आफिसेस कम्युनिटी सेंटर में फर्नीचर बदलने के लिए बोर्ड आॅफ गवर्नर्स को पूर्ण अधिकार रहेंगे। डायरेक्टर जनरल इसमें पच्चीस लाख रुपए प्रति बिल की मंजूरी दे सकेंगे। लेकिन इसके लिए पुराने फर्नीचर को राइट आॅफ और डिस्पोज करने का प्रमाणपत्र उन्हें देना होगा।
स्टोर में डेड स्टॉक, उपयोग योग्य नहीं रह गए स्टॉक को सार्वजनिक नीलामी के जरिए निकालने के पूर्ण अधिकार डायरेक्टर जनरल को रहेंगे। डायरेक्टर पांच लाख रुपए तक के स्टाक के लिए निर्णय ले सकेंगे। डिप्टी डायरेक्टर दो लाख रुपए तक के मामलों में निर्णय ले सकेंगे।
ट्रेनिंग इंस्टीटयूट के लिए वित्तीय स्वीकृति के पूर्ण अधिकारी डायरेक्टर जनरल को रहेंगे। डायरेक्टर पांच लाख रुपए तक राशि के निर्णय ले सकेंगे। विजिटिंग फेकल्टी के टीए डीए को लेकर अब डायरेक्टर स्तर पर ही पूर्ण स्वीकृति दी जा सकेगी। डिजाइनिंग कोर्स के लिए सलाह की फीस को लेकर बोर्ड आॅफ गर्वनर्स पूर्ण निर्णय ले सकेंगे। डायरेक्टर जनरल दस लाख और डायरेक्टर एक लाख रुपए तक के निर्णय ही कर सकेंगे।
डायरेक्टर दे सकेंगे गेस्ट लेक्चर के खर्चों को मंजूरी
गेस्ट फेकल्टी के लिए फ्री ट्रांसपोर्ट सेवा देने डायरेक्टर और सेमिनार, वर्कशॉप तथा फेकल्टी मेंबर्स के लिए चायर, नाश्ता, भोजन का बिल स्वीकृति अब डायरेक्टर कर सकेंगे। विसिटिंग फेक्ल्टी के रुकने के इंतजामों के खर्चो की स्वीकृति डायरेक्टर दे सकेंगे। टेÑनी के मनोरंजन पर खर्च राशि के बिलों की मंजूरी भी डायरेक्टर दे सकेंगे। गेस्ट लेक्चर के खर्चो को डायरेक्टर मंजूरी दे सकेंगे। फिक्स चार्ज, रुकने के कमरों, हॉस्टल, गेस्ट हाउस ट्रेनी गेस्ट को उपलब्ध करानेके अधिकार डायरेक्टर को और वाहन सुविधा उपलब्ध कराने के अधिकार अब डायरेक्टर जनरल को रहेंगे।