दुश्मनों की बढ़ेगी टेंशन! LOC तक पहुंचेगी ट्रेन, कश्मीर में रेलवे का मेगा मिशन जल्द
जम्मू
आतंकपरस्त देश पाकिस्तान के अब होश ठिकाने लगने वाले हैं। आतंकियों पर पैनी नजर रखने और अपने सैन्य बल को मजबूत करने के लिए मोदी सरकार जल्द बड़ा कदम उठाने जा रही है। उत्तर रेलवे जल्द ही कश्मीर में एलओसी तक ट्रेन पहुंचाने का काम कर रही है। 50 किलोमीटर लंबे बारामूला-उरी तक रेलवे लाइन बिछाने का काम जल्द शुरू होने वाला है। रेलवे पाकिस्तान के साथ नियंत्रण रेखा (एलओसी) के करीब ट्रेन नेटवर्क ले जाएगा। ऐसा होने से न सिर्फ सैन्य मजबूती मिलेगी, स्थानीय लोगों को भी यात्रा में मदद करने का प्रयास है। इससे अग्रिम क्षेत्रों में सामानों और जरूरी रसद की आपूर्ति आसान हो जाएगी। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि रेलवे ने इस मेगा प्रोजेक्ट पर काम शुरू भी कर दिया है। पहले चरण के तहत निविदाएं मंगाई गई हैं। उत्तर रेलवे के साथ-साथ केंद्र सरकार जल्द से जल्द परियोजना को पूरा करना चाहती है।
बारामूला से उरी तक रेलवे नेटवर्क
एक बार यह ड्रीम परियोजना पूरी हो जाने के बाद, उरी का सीमावर्ती क्षेत्र पूरे देश में रेलवे से जुड़ जाएगा और इससे न केवल स्थानीय लोगों को बल्कि सेना के जवानों को भी मदद मिलेगी, जो उरी में नियंत्रण रेखा एलओसी पर बड़ी संख्या में तैनात हैं। सूत्रों का कहना है कि इससे सेना को जरूरी सामान सीधे सीमा तक पहुंचाया जा सकेगा।
आधिकारिक सूत्रों ने कहा कि उत्तर रेलवे बारामूला-उरी लाइन के लिए अंतिम स्थान सर्वेक्षण (एफएलएस) शुरू करने पर विचार कर रहा है और इसके लिए मंत्रालय द्वारा प्रस्ताव भेजा जा चुका है। सूत्रों ने कहा, "एरियल सर्वे (एरियल फोटोग्राममेट्रिक सर्वे या एरियल लिडार) और डीजीपीएस (डिफरेंशियल ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम) लेवलिंग और डीईएम के निर्माण जैसी आधुनिक सर्वेक्षण तकनीकों का उपयोग करके रेलवे लाइन/सड़क के इंजीनियरिंग सर्वेक्षण कार्य के लिए निविदाएं जारी की गई हैं।"
50 किलोमीटर तक बढ़ेगा रेलवे नेटवर्क
उन्होंने कहा कि बारामूला से उरी तक का कुल ट्रैक 50 किलोमीटर का होगा। केंद्र सरकार स्थानीय लोगों के साथ-साथ वहां तैनात सुरक्षाकर्मियों के लाभ के लिए कनेक्टिविटी बढ़ाने के लिए ट्रेनों या सड़क के माध्यम से पाकिस्तान और चीन के साथ सीमावर्ती क्षेत्रों को जोड़ने के लिए कई पहल कर रही है।
क्या होंगे फायदे
अभी सेना को आपूर्ति के लिए ट्रकों का उपयोग करना पड़ता है। लेकिन, ट्रेन शुरू हो जाने की स्थिति में कम समय में ट्रेनें सीमावर्ती क्षेत्रों में बड़ी आपूर्ति कर सकती हैं। सूत्रों का कहना है कि “यह पूरे कश्मीर के लिए अच्छी खबर है। गौरतलब है कि सरकार ने कहा है कि इस साल के अंत तक कश्मीर को कन्याकुमारी से रेल संपर्क के जरिए जोड़ दिया जाएगा।"