भोपालमध्यप्रदेश

पर्यटन के क्षेत्र में विश्व के मानचित्र पर होगी मध्यप्रदेश की अलग पहचान : मुख्यमंत्री डॉ. यादव

भोपाल
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने विश्व पर्यटन दिवस के अवसर पर प्रदेशवासियों को बधाई और शुभकामनाएं दी हैं। उन्होंने पर्यटकों को मध्यप्रदेश आने का निमंत्रण दिया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश सरकार ने प्रदेश में पर्यटन के क्षेत्र में बहुत विकास किया है। मध्यप्रदेश की सबसे पहली विशेषता यह है कि हृदय स्थली के रूप में देश के मध्य में स्थित है और अपनी भौगोलिक स्थिति के कारण ही यह मध्य प्रदेश कहलाता है। देश के मध्य में स्थित होने के कारण पर्यटकों के लिए देश के किसी भी कोने से मध्यप्रदेश आने में सुविधा होती है। मध्यप्रदेश में चौड़ी सड़कें, पुल, पहाड़ों और गांवों तक सड़कों का जाल बिछा होने से पर्यटक सहजता से पर्यटन स्थलों का भ्रमण कर सकते हैं।

टाईगर स्टेट है मध्यप्रदेश
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के प्रयासों से मध्यप्रदेश के कूनो नेशनल पार्क में दक्षिण अफ्रीका और नामीबिया से लाए गए चीतों को विस्थापित किया गया है। मध्यप्रदेश में प्राकृतिक सौन्दर्य, नदियां, पहाड़, हरियाली और वृहद भाग में फैले वन क्षेत्र और उसमें स्वतंत्र विचरण करते वन्य-प्राणी पर्यटकों को मन मोह लेते हैं। मध्यप्रदेश में कान्हा टाईगर रिजर्व, मंडला-बालाघाट-उमरिया में बांधवगढ टाईगर रिजर्व, पन्ना का टाईगर रिजर्व, सिवनी का पेंच टाईगर रिजर्व, नर्मदापुरम का सतपुड़ा टाईगर रिजर्व, सीधी में संजय टाईगर रिजर्व तक ही नहीं, सागर के नौरादेही अभयारण्य (वीरांगना दुर्गावती टाइगर) रिजर्व के रूप में सघन वन और वन्य-प्राणियों की बहुलता विशेष आकर्षण है। इसके अलावा प्रदेश में 5 नेशनल पार्क और 10 सेंचुरी भी हैं।

प्राकृतिक सौंदर्य के साथ धार्मिक और स्थापत्य कला का बेजोड़ संगम है म.प्र.
ऐतिहासिक धरोहर के रूप में भगवान श्रीकृष्ण की शिक्षा का केन्द्र रहे सांदीपनी आश्रम उज्जैन, पांडवों के आज्ञातवास की निवास स्थली पचमढ़ी, बेजोड़ मूर्तिकला का प्रदर्शन चंदेल राजाओं के द्वारा निर्मित खजुराहो मंदिर देखने के लिए देश ही नहीं विदेशी पर्यटकों का बड़ी संख्या में आवागमन होता है। उन्होंने कहा कि माँ नर्मदा के उद्गम स्थल अमरकंटक, झांसी की महारानी लक्ष्मी बाई की वीरता और संगीत सम्राट तानसेन की जन्मस्थली के ऐतिहासिक गाथाओं के साक्षी ग्वालियर भी पर्यटकों की रूचि का केन्द्र है।

महाकाल की नगरी उज्जैन
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि देश के 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक महाकाल ज्योर्तिलिंग उज्जैन के महाकाल लोक और दूसरे ज्योतिर्लिंग ओंकारेश्वर में बड़ी संख्या में पर्यटक आते हैं। मध्यप्रदेश की पहचान धार्मिक नगरी उज्जयिनी में हर 12वें वर्ष में होने वाले सिंहस्थ के रूप में भी होती है। मध्यप्रदेश में नदियों, तालाबों और सरोवरों से भरपूर, छोटा मुम्बई कहलाता प्रदेश की राजधानी भोपाल का बड़ा तालाब, माँ नर्मदा, ताप्ती, चंबल और क्षिप्रा की विहंगम जलधाराएं पर्यटकों को मंत्रमुग्ध कर देती हैं।

 

Pradesh 24 News
       
   

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button