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भारत की सबसे कठिन परीक्षाओं में से एक, यूपीएससी (संघ लोक सेवा आयोग) को पास करना आसान नहीं होता है। हर साल लाखों उम्मीदवार इस परीक्षा में शामिल होते हैं, लेकिन उनमें से कुछ ही उम्मीदवारों का सिलेक्शन फाइनल लिस्ट में हो पाता है। वहीं इस परीक्षा को पास करने के लिए अधिकांश उम्मीदवार कोचिंग क्लास की मदद लेते हैं तो कुछ सेल्फ स्टडी करते हैं। आज हम आपको ऐसे IAS अधिकारी के बारे में बताने जा रहे हैं, जिन्होंने सेल्फ स्टडी की मदद से UPSC की परीक्षा पास की है। आइए जानते हैं यूपीएससी की परीक्षा पास करने के लिए कोचिंग कितनी जरूरी होती है। क्या है इस पर IAS अधिकारी की राय।
हम बात कर रहे हैं, आईएएस सिद्धार्थ शुक्ला के बारे में। बता दें, आज़मगढ़ के रहने वाले सिद्धार्थ शुक्ला ने दिल्ली के रोहिणी के सेंट जेवियर्स स्कूल से अपनी स्कूली पढ़ाई पूरी की। जिसके बाद उन्होंने दिल्ली यूनिवर्सिटी के खालसा कॉलेज से हिस्ट्री में डिग्री ली। उनके पिता चाहते थे कि वह यूपीएससी की परीक्षा दें, जिसके बाद उन्होंने अपने पिता के सपने को पूरा करने के लिए यूपीएससी की तैयारी शुरू कर दी।
ये तो हम सभी जानते हैं कि यूपीएससी की तैयारी आसान नहीं है, जिसके बाद सिद्धार्थ ने इस परीक्षा की तैयारी के लिए कुछ अलग बातें अपनाई। जैसे उन्होंने कोचिंग क्लास में दाखिला नहीं लेने का फैसला किया और अपना पूरा समय सेल्फ स्टडी को दिया। बता दें, उन्होंने हाल ही में सोशल मीडिया साइट एक्स (पहले ट्विटर) पर एक पोस्ट शेयर कर यूपीएससी कोचिंग को लूटने वाली संस्था बताया था।
उन्होंने लिखा, "UPSC की तैयारी करने वाले अभ्यर्थियों को मेरा संदेश है कि , कोचिंग करना जरूरी नहीं है. गांव की संपत्ति को बेचने की जरूरत नहीं है।
मध्यमवर्गीय परिवार के विद्यार्थियों के लिए यह बहुत बड़ी रकम है। खर्चा अलग है।
अपने ट्वीट के माध्यम से आईएएस सिद्धार्थ शुक्ला ने छात्रों को संस्थानों के जाल में फंसने से रोकने के लिए आगाह किया और उन्हें सलाह दी कि वे संस्थानों को लाखों रुपये का भुगतान करना बंद करें और इसके बजाय जरूरी किताबें खरीदें और उन्हें पढ़ें।
सिद्धार्थ ने इस परीक्षा में कई बार हार का मुंह भी देखा था। अपने पहले प्रयास में मुख्य परीक्षा में बुरी तरह से वह असफल रहे थे। अपने दूसरे प्रयास में, उन्होंने प्रारंभिक और मुख्य दोनों परीक्षाएं पास कर ली थी,लेकिन इंटरव्यू राउंड में असफल रहे तीसरी बार भी वह यूपीएससी की परीक्षा में असफल रहे थे।
अपने असफल प्रयासों के बाद, उन्होंने यूपीपीसीएस में भाग लिया और अंततः सीडीएस और एसएसबी परीक्षा पास करने के बाद 2020 में 27वीं रैंक के साथ सीएपीएफ परीक्षा उत्तीर्ण की। आईएएस अधिकारी बनने से पहले वह केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) में सहायक कमांडेंट नियुक्त हुए थे।
यूपीएससी की परीक्षा में उन्होंने हार नहीं मानी और उन्हें विश्वास था कि वह इसमें सफल होंगे। यूपीपीसीएस के बाद उन्होंने अपने चौथे प्रयास में यूपीएससी परीक्षा 2022 रैंक 18 के साथ पास की और आईएएस अधिकारी बन गए।