मुख्यमंत्री को लेकर प्रदेश से लेकर दिल्ली तक अटकल, पर्यवेक्षक तय
भोपाल
भाजपा ने मध्य प्रदेश में पार्टी विधायक दल के नेता का चुनाव करने के लिए पर्यवेक्षकों की नियुक्ति कर दी है। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर, ओबीसी मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. के लक्ष्मण और राष्ट्रीय सचिव आशा लाकड़ा को बनाया गया है। ऐसी संभावना है कि रविवार को भाजपा विधायक दल की बैठक बुलाई जा सकती है। जिसमें यह तय हो जाएगा कि मध्य प्रदेश में मुख्यमंत्री का चेहरा कौन होगा।
भाजपा की प्रचंड जीत के बाद से ही मुख्यमंत्री के चेहरे को लेकर अटकलों का दौर प्रदेश से लेकर दिल्ली तक चल रहा है। इस बीच पर्यवेक्षकों की नियुक्ति कर दी गई है। पर्यवेक्षक शनिवार को भोपाल आ सकते हैं। यहां पर वे प्रदेश भाजपा के नेताओं से मुलाकात कर सकते हैं। इसके साथ ही वे विधायक दल की बैठक भी करेंगे। यहां पर मुख्यमंत्री के नाम की रायशुमारी करेंगे। हालांकि माना यह जा रहा है कि पर्यवेक्षक दिल्ली से ही मुख्यमंत्री का नाम लेकर जाएंगे और उस नाम पर विधायक दल की बैठक में सर्वसम्मति से मुहर लगाई जाएगी। यानि अगले एक-दो दिन में मुख्यमंत्री कौन होगा इसे लेकर स्थिति साफ हो जाएगी। विधायक दल की बैठक के बाद मुख्यमंत्री के नाम की घोषणा भोपाल में ही की जाएगी।
कैबिनेट में आ सकते हैं नए चेहरे
यह भी कयास लगाए जा रहे हैं कि इस बार का मंत्रिमंडल पूर्व की तरह नहीं होगा। इसमें कई नए चेहरे देखने को मिल सकते हैं। यह भी हो सकता है कि अधिकांश पुराने मंत्रियों को मंत्रिमंडल में जगह नहीं मिले, उनकी जगह पर युवा और नए चेहरो को इस बार मौका मिल सकता है।
सीएम के साथ दो डिप्टी सीएम
सूत्रों की मानी जाए तो मुख्यमंत्री के साथ इस बार दो उपमुख्यमंत्री देखने को मिल सकते हैं। यह निर्भर करता है कि मुख्यमंत्री किस वर्ग से आने वाले नेता को बनाया जाएगा। उस अनुसार ही डिप्टी सीएम के नाम का ऐलान होगा। ऐसा माना जा रहा है कि डिप्टी सीएम का एक पद महिला विधायक के खाते में जा सकता है।
राजस्थान-छत्तीसगढ़ में इन्हें दी जिम्मेदारी
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, विनोद तावड़े और सरोज पांडेय को राजस्थान का पर्यवेक्षक बनाया गया है। छत्तीसगढ़ के लिए अर्जुन मुंडा, सर्वानंद सोनोवाल और दुष्यंत गौतम को चुना गया है। ये पर्यवेक्षक विधायक दल की बैठक में विधायकों की राय लेंगे। बीजेपी आलाकमान की मुहर के बाद रविवार तक नामों का ऐलान हो सकता है।