राजनीति

शिवराज सिंह चौहान के 12, अशोक गहलोत के 17 मंत्री हारे, जनता ने 43 दिग्गजों को निपटाए

नई दिल्ली
चार राज्यों के नतीजे घोषित हो चुके हैं। इनमें से तीन में भारतीय जनता पार्टी ने बंपर जीत हासिल की। वहीं, तेलंगाना में कांग्रेस ने भारत राष्ट्र समिति को सत्ता से बाहर कर दिया। खास बात है कि इन सभी राज्यों में कई बडे़ उलटफेर भी देखने को मिले। आंकड़े बता रहे हैं कि रविवार को घोषित नतीजों में कम से कम 43 मंत्री चुनाव हार गए हैं।

शिवराज कैबिनेट के 10 से ज्यादा मंत्री हार गए
मध्य प्रदेश में रविवार को भाजपा ने विधानसभा चुनाव में बड़ी जीत दर्ज करते हुए अपनी चमक बिखेरी, लेकिन गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा सहित शिवराज सिंह चौहान कैबिनेट के 12 मंत्री जीत से दूर रहे। मिश्रा दतिया सीट से कांग्रेस उम्मीदवार राजेंद्र भारती से 7,742 वोटों के अंतर से हार गए। हार का सामना करने वालों में अटेर से मंत्री अरविंद भदोरिया, हरदा से कमल पटेल और बालाघाट से गौरीशंकर बिसेन शामिल हैं।

बड़वानी से प्रेम सिंह पटेल, बमोरी से महेंद्र सिंह सिसौदिया, बदनावर से राजवर्धन सिंह दत्तीगांव, ग्वालियर ग्रामीण से भरत सिंह कुशवाह, अमरपाटन से रामखेलावन पटेल और पोहरी से सुरेश धाकड़ विजयी उम्मीदवारों की सूची में जगह नहीं बना सके। पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती के भतीजे राहुल सिंह लोधी को खरगापुर से हार का सामना करना पड़ा। एक अन्य मंत्री राम किशोर कावरे भी हार गए।

कांग्रेस सरकार के 25 में से 17 मंत्री चुनाव हार गए
राजस्थान में अशोक गहलोत के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार के 25 मंत्रियों में से 17 मंत्री (जिनमें पार्टी की अभियान समिति का नेतृत्व करने वाले गोविंद राम मेघवाल भी शामिल हैं) विधानसभा चुनाव हार गए। खाजूवाला में गोविंद मेघवाल को भाजपा के विश्वनाथ मेघवाल ने 17374 वोटों से हराया। चुनाव हारने वाले अन्य कांग्रेस मंत्रियों में रमेश चंद मीणा (सपोटरा), शाले मोहम्मद (पोकरण), भंवर सिंह भाटी (कोलायत), शकुंतला रावत (बानसूर), विश्वेंद्र सिंह (डीग कुम्हेर) और उदयलाल अंजना (निंबाहेड़ा) शामिल हैं।

प्रताप सिंह खाचरियावास (सिविल लाइंस) 28,329 वोटों के अंतर से और बीडी कल्ला (बीकानेर पश्चिम) 20,194 वोटों के अंतर से हारे। जाहिदा खान (कामां) अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी से 13,906 वोटों से हार गईं और तीसरे स्थान पर रहीं।

मंत्री भजन लाल जाटव (वैर), ममता भूपेश (सिकराय), परसादी लाल मीणा (लालसोट), सुखराम विश्नोई (सांचोर), रामलाल जाट (मांडल), प्रमोद जैन भाया (अंता) और राजेंद्र यादव (कोटपूतली) भी चुनाव हार गए।

गहलोत के पांच सलाहकार – संयम लोढ़ा (सिरोही), राजकुमार शर्मा (नवलगढ़), बाबू लाल नागर (दूदू), दानिश अबरार (सवाईमाधोपुर) और पूर्व मुख्य सचिव निरंजन आर्य (सोजत) भी चुनाव हार गए।

भूपेश बघेल के 9 मंत्री हारे
इधर, छत्तीसगढ़ में भी मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की सरकार के 13 में से 9 मंत्रियों को हार का मुंह देखना पड़ा। खास बात है कि इनमें स्वास्थ्य मंत्री रहे टीएस सिंह देव और राज्य के गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू का नाम भी शामिल है। साजा से कृषि मंत्री रविंद्र चौबे, कवर्धा मोहम्मद अकबर, नवगढ़ से गुरु रुद्र कुमार, सीतापुर से अमरजीत भगत, कोंडगांव से मोहन मरकाम और कोरबा से जय सिंह अग्रवाल को हार का सामना करना पड़ा।

तेलंगाना में कम से कम 5 मंत्री हारे
तेलंगाना में भारत राष्ट्र समिति सत्ता से बाहर हो गई। यहां भी केसीआर के 5 मंत्रियों को हार का सामना करना पड़ा। इनमें निर्मल से एएई रेड्डी, वनपार्थी से एसएन रेड्डी, ईडी राव, पी अजय कुमार, और श्रीनिवास गौड़ का नाम शामिल है।

 

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