रायपुर.
सूखे की संकट के कगार पर पहुंच चुके प्रदेश के 25 जिलों को सही समय पर बारिश ने संजीवनी दी है। सितंबर महीने में हुई बारिश से किसानों के चेहरे खिल गए हैं। धान की फसलों के लिए यह सबसे ज्यादा जरूरी था। अगस्त महीने में कम बारिश से स्थिति चिंताजनक बनी हुई थी। प्रदेश में बड़े-छोटे बांधों की स्थिति पर गौर करें तो 22 सितंबर की स्थिति तक प्रदेश के नौ बड़े बांधों में 100 प्रतिशत पानी भर चुका है जबकि प्रदेश के छह बांधों में 90 से 95 प्रतिशत तक जलभराव है।
प्रदेश में अब सामान्य बारिश से वर्तमान बारिश के बीच अंतर सिर्फ 10 प्रतिशत रह गया है, जबकि चार जिलों में सामान्य से अधिक बारिश दर्ज की गई है। मौसम विशेषज्ञों का कहना है कि 19 प्रतिशत तक कम बारिश को सामान्य बारिश की श्रेणी में रखा जाता है। इसलिए प्रदेश में बारिश की स्थिति सामान्य है। इसका सबसे ज्यादा फायदा धान की फसल को मिल रहा है।
कृषि विशेषज्ञों का कहना है कि धान की फसल में अभी बालियां निकल रही हैं। इसलिए अभी फसल पकने तक पानी की जरूरत होगी। आने वाले दिनों में मानसून ब्रेक जैसी स्थिति बनी तो बांधों से पानी छोड़ा जा सकता है। 15 सितंबर के पहले प्रदेश के बांधों में सिर्फ 70 से 80 प्रतिशत तक ही पानी भर पाया था।
125 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी का लक्ष्य
प्रदेश के अलग-अलग जिलों में अक्टूबर महीने के आखिरी तक धान की कटाई शुरू हो सकती है। प्रदेश में एक नवंबर से धान खरीदी होगी। ज्यादातर जिलों में फसलों कटाई नवंबर महीने के पहले हफ्ते से शुरू होगी। राज्य सरकार ने इस बार रिकार्ड 125 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी का लक्ष्य रखा है। साथ ही अब 15 के बजाय 20 क्विंटल प्रति एकड़ के हिसाब से धान खरीदी की जाएगी। घोषणा के मुताबिक समर्थन मूल्य भी प्रति क्विंटल 2,800 रुपये की दर से प्राप्त होगा।
इन जिलों में सामान्य से कम बारिश
बलरामपुर (-21), दंतेवाड़ा (-24), जशपुर (-42), कोंडागांव (-21), कोरबा (-26), कोरिया (-22), नारायणपुर (-20), सूरजपुर (-31), सरगुजा (-57)।
इन जिलों में अच्छी बारिश
बालोद, बस्तर, बेमेतरा, बिलासपुर, धमतरी, दुर्ग, गरियाबंद, जांजगीर, कबीरधाम, कांकेर, महासमुंद, रायगढ़, राजनांदगांव और सुकमा।
इन जिलों में सामान्य से अधिक वर्षा
बलौदाबाजार-20 प्रतिशत
बीजापुर-28 प्रतिशत
रायपुर-24 प्रतिशत
मुंगेली-39 प्रतिशत
इन बांधों में 100 प्रतिशत पानी भरा
कमरकूट (रायगढ़), घोंघा (बिलासपुर), सरोदा (कबीरधाम), मोंगराबार (राजनांदगांव), सुतियापाठ (कबीरधाम), पिपरिया नाला (राजनांदगांव), छिरपानी (कबीरधाम), कोसारटेंडा (बस्तर) और मनियारी (मुंगेली)।
इन बांधों में 90 से 99 प्रतिशत पानी
केदार नाला (रायगढ़),कर्रा नाला (कबीरधाम), झुमका (कोरिया), मटियामोती (राजनांदगांव), श्याम (सरगुजा), खरखरा (बालोद) और खारंग (बिलासपुर)।